खून मैं उबाल आज सुबह सुबह खुस्दीप जी की एक पोस्ट पढ़ी उस पर कुछ टिप्पड्डी पढ़ी पोस्ट को कुछ पकिस्तान्नी और आतंकवाद समर्थक लोगो ने पढ़ी उनके खून मैं उबाल आ गया और लिखते है
यह आप हैं इसलिए जाने दे रहा हूँ वर्ना किसी की मौत का मज़ाक़ कैसे बनाया जाता है ?, यह मैं बताता !
यह सच है यह किसी के सगे नहीं है वर्ना किसी को पनाह देकर किसी गेर के हाथो नहीं मरवाया जाता ......
चंद डालर ने उसको मरवा दिया ...जिन लोगो को भारत पसंद नहीं है वह लोग भारत से जा सकते है ......और अपने सगो के बीच मैं काफिर की तरह सर झुका कर जी सकते है ..........
जय बाबा बनारस....
पाकिस्तानी औलाद हिंदुस्तान में सुवर के बच्चों की तरह फ़ैल गएँ हैं..
ReplyDeleteये जब देखो तब पाकिस्तान का मल खाने को तत्पर रहते हैं..
जरा उस पोस्ट का लिंक दीजिये..इन भारत के पाकिस्तानियों बाबर के लादेनी औलादों की जरा खबर ले लूँ ...
बोलो भईया दे दे तान हिंदी हिन्दू हिन्दुस्थान ...
बोलो बाबा बनारस की जय हो...
पत्थर के खुदा, पत्थर के सनम, पत्थर के ही इंसा पाये हैं ...
ReplyDeleteजिनका खुदा बन्दूक और डॉलर में बसता हो, उनके लिये क्या इंसान और क्या इंसानियत?
खून खून बस खून...... यही खून सब कुछ कहता है..
ReplyDeleteखून को खून बुलाता है...
अपनों के खून पर खून खोलता है...
वक्त का तकाज़ा है इन लोगों का खून भी उसके खून के साथ मिला दो...
kripya meri bhi kavita padhe aur apni raay den..
ReplyDeletewww.pradip13m.blogspot.com